आपको, सबसे पहले प्रणाम करता हूं
अब दिल का हाल बयां करता हूं…
आपका नाम है प्रतीक
करतें हैं सबको ठीक☺️
जब आपसे मिला था, कुछ मायूस था
कुछ अजीब था, खुद भी कहीं ग़ुम था…
मेरे साथ कुछ यूं हुआ करता था
सब चाबी, मैं ताला हुआ करता था…
चाबी से खोल लिया करते थे लोग
नहीं तो तोड़ दिया करते थे लोग…
मेरी पहचान, मुझमें ही ग़ुम थी
क्या किसी से कम थी…
लोगों ने नकारा था, फिर
मुझे आपने ही सवारा था…
आपने मुझे एक कीमती तोफा दिया
Art Of Living सिखा दिया…
दिल किया मेरा ये राज़ सबसे साझा किया जाए
दिल की ख्वाहिश है आपसे एक दिन मिल लिया जाए…☺️
From:- Gaurav Singh
https://gauravpoetryblog.wordpress.com
Really proud of you.
Dhanya ho gaye hum aapke jaise students paa kar.
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